प्रश्न.1 कविता में कुछ पंक्तियाँ कोष्ठकों में रखी गई हैं-आपकी समझ से इसका क्या औचित्य है?
उत्तर: कोष्ठकों में दी गई पंक्तियों के माध्यम से संयोजक अपनी बात को सार्थकता, स्पष्टता और विशिष्टता प्रदान, प्रयोगवादी शिल्प को व्यक्त करता है।
प्रश्न.2 कैमरे में बंद अपाहिज करुणा के मुखौटे में छिपी क्रूरता की कविता है-विचार कीजिए।
उत्तर: ‘कैमरे में बंद अपाहिज' कविता के माध्यम से कवि ने शक्तिशाली वर्ग की क्रूरता को उजागर किया है। यह वर्ग शोषित वर्ग से जैसे चाहे वैसे कार्य करवाते हैं और उन्हें स्वतंत्र रूप से अपने विचारों की अभिव्यक्ति भी नहीं करने देते। कवि ने अपाहिज व्यक्ति के प्रति करुणा-भाव प्रकट किए हैं लेकिन टेलीविज़न कैमरा अपने कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए और कारोबार को बढ़ाने के लिए अपाहिज के प्रति संवेदनहीन रवैये को अपनाता है।
प्रश्न.3 हम समर्थ शक्तिवान और हम एक दुर्बल को लाएँगे पंक्ति के माध्यम से कवि ने क्या व्यंग्य किया है?
उत्तर: इस पंक्ति के माध्यम से कवि ने टेलीविज़न कैमरा तथा दूरदर्शनवालों पर व्यंग्य किया है जो दूसरों की दुर्बलता का फ़ायदा उठाकर अपने आप को प्रसिद्ध करने का प्रयास करते हैं। वे खुद को हर तरह से समर्थ मानकर किसी अपाहिज व्यक्ति की संवेदनाओं से खिलवाड़ करते हैं।
प्रश्न.4 यदि शारीरिक रूप से चुनौती का सामना कर रहे व्यक्ति और दर्शक, दोनों एक साथ रोने लगेंगे, तो उससे प्रश्नकर्ता का कौन-सा उद्देश्य पूरा होगा?
उत्तर: शारीरिक चुनौती का सामना कर रहे व्यक्ति और दर्शक दोनों के एक साथ रोने लगेंगे तो प्रश्नकर्ता का कार्यक्रम सफल हो जाएगा और उसे धन और यश दोनों मिलेगा जिसकी उसको चाहत थी। इससे उसका उद्देश्य पूरा हो जाएगा।
प्रश्न.5 परदे पर वक्त की कीमत है कहकर कवि ने पूरे साक्षात्कार के प्रति अपना नज़रिया किस रूप में रखा है?
उत्तर: इस पंक्ति के माध्यम से कवि ने पूरे साक्षात्कार के प्रति मीडिया वालों की व्यावसायिक प्रवृत्ति को उभारा है।यह कहकर कवि ने बताया है कि दूरदर्शनवाले यह चाहते हैं कि अपंग व्यक्ति को दुखी देखकर दर्शकगण भी रोने लगे। इस तरह के दृश्य को वे अधिक समय तक दिखाना नहीं चाहते क्योंकि उन्हें वक्त की कीमत का अहसास है।