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फसल चक्र से क्या समझते हैं ?

फसल चक्र से क्या समझते हैं ?

हेलो दोस्तों मेरा नाम भूपेंद्र है। और आज के आर्टिकल का टॉपिक है। फसल चक्र से आप क्या समझते हैं। इस टॉपिक में हम आपको फसल चक्र के नियम और फसल चक्र क्या है बताएंगे इसलिए आर्टिकल को पूरा पढ़ें।

फसल चक्र किसे कहते हैं?

किसी निश्चित क्षेत्र पर एक निश्चित अवधि में फसलों को इस प्रकार बदल बदल कर दो ना जिसे भूमि की उर्वरा शक्ति का ह्रास ना हो, फसल चक्र कहलाता है।

किसी निश्चित क्षेत्र पर एक निश्चित अवधि में फसलों को इस प्रकार बदल बदल कर दो ना जिसे भूमि की उर्वरा शक्ति का ह्रास ना हो, फसल चक्र कहलाता है।

फसल चक्र के फायदे क्या है?

  1. फसल चक्र के अपनाने से भूमि की उर्वरक शक्ति बनी रहती है।
  2. फसल चक्र के अपनाने से भूमि में अम्लीय और क्षारीय गुण, पौषक तत्व और जैविक पदार्थों की मात्रा संतुलित रहती है।
  3. फसल चक्र के अपनाने से फसल में कई तरह के किट और बीज जनित रोग नही लगते।
  4. इसके अपनाने से फसलों से पैदावार अधिक मात्रा में प्राप्त होती है. जिनकी गुणवत्ता भी अच्छी पाई जाती है।
  5. भूमि में फसल चक्र अपनाने से रासायनिक उर्वरक कम मात्रा में इस्तेमाल किये जाते हैं. जिससे मिट्टी प्रदूषित होने से बचती है।
  6. फसल चक्र अपनाने से फसलों में रोग भी काफी कम ही देखने को मिलते है. जिसकी वजह से किसान भाइयों के द्वारा रासायनिक दवाइयों पर किया जाने वाला खर्च भी कम हो जाता है।
  7. फसल चक्र के दौरान फली वाली फसलों के बोने पर खेत में नाइट्रोजन की पूर्ति रहती है।

फसल चक्र के नियम?

किसानों को फसल की अच्छी उपज लेने के लिए फसल चक्र बनाते समय निम्नलिखित बातों को ध्यान में रखना चाहिए।

  1. गहरी जड़ वाली फसलों के बाद सतह पर फैली जड़ वाली फसल बोने चाहिए जिससे फसल मृदा के विभिन्न स्तरों से पोषक पदार्थों को ग्रहण कर सकें जैसे-कपास, गेहूं, गन्ना
  2. अधिक खान चाहने वाली फसलों के बाद कम खास जाने वाली फसल उगने चाहिए जिससे भूमि की उर्वरता बनी रहे जैसे-धान, चना गन्ना मसूर।
  3. फसल चक्र में भी सभी फसलें सम्मिलित होने चाहिए जिससे किसान की घरेलू आवश्यकताओं की पूर्ति होती रहे।
  4. फसल चक्र में ऐसी फसलों को चुनना चाहिए जो रोग व कीट की दृष्टि से सम्मान ना हो इससे फसलें सुरक्षित रहती हैं।
  5. अधिक उर्वरक लेने वाली फसलों के बाद जिन फसलों के लिए उर्वरक की काफी कम आवश्यकता होती है उन्हें उगाना चाहिए।
  6. जिन फसलों की जड़ें अधिक गहराई में जाती हैं उन फसलों के बाद जिन फसलों की जड़ें कम गहराई में जाती हैं, उन्हें उगाना चाहिए।