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विद्युत आवेश तथा विद्युत क्षेत्र

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विद्युत आवेश तथा विद्युत क्षेत्र

विद्युत आवेश तथा विद्युत क्षेत्र

विद्युत क्षेत्र तथा आवेश

चैप्टर शुरू करने से पहले आपको बता दें कि यह चैप्टर विद्युत क्षेत्र तथा आवेश स्थिर विद्युततिकी (Electrostatic) का ही भाग है, अतः आपको यह चैप्टर समझने से पहले शब्द “स्थिर वैद्युततिकी” को समझना होगा।

स्थिर विद्युततिकी

Electrostatic=आवेश+स्थिर (Electro+Static)

परिभाषा:- विज्ञान की वह शाखा जिसके अंतर्गत स्थिर आवेशों (charge) का अध्ययन किया जाता है, स्थिर वैद्युततिकी (Electrotechnology) कहलाती है।

विद्युत आवेश

विद्युत क्षेत्र (electric field) तथा आवेश पदार्थ का वह गुण है जिसकी उपस्थिति में वह पदार्थ(material) किसी अन्य वस्तु पर बल (force) अनुभव कराता है।

उदाहरण:- यदि किसी आवेशित छड़ को कागज के टुकड़ों के पास लाया जाता है तो कागज के टुकड़े उस छड़ में चिपक जाते हैं जबकि बिना आवेशित छड के नहीं चिपकते।

  • विद्युत आवेश की एस आई इकाई(SI Unit) कूलाम (C) होती है।
  • यह एक आदेश राशि हैं।
  • आवेश = धारा × समय (Q = It )

जहां I = धारा (एंपियर में), Q = आवेश (कूलाम में), t= समय (सेकंड में)।

उदाहरण:- यदि किसी तार में 4 कूलाम आवेश 2 सेकंड के लिए बढ़ता है तो धारा का मान ज्ञात कीजिए?

हम जानते है– Q = It, I = Q/t, I = 4/2, (I = 2A) यहां:- [Q = 4C t = 2Sec]

उदाहरण:- विद्युत क्षेत्र आवेश का विमीय सूत्र लीजिए

हम जानते हैं– Q = It – यहां धारा(I) तथा समय (t) मूलभूत राशियां है अतः इनकी Unit सूत्र में रखने पर।

[Q] = [A’ T’] उत्तर

वैद्युत आवेश के प्रकार

यह दो प्रकार के होते हैं -

धनावेश

किसी वस्तु पर धनावेश (positive), उसकी सामान्य अवस्था से इलेक्ट्रॉन (electron) की कमी को प्रदर्शित करता है।

ऋणावेश

किसी वस्तु पर ऋण आवेश(negative charge), उसकी सामान्य अवस्था से इलेक्ट्रॉन (Electron) की अधिकता को प्रदर्शित करता है।

विद्युत आवेश के मूलभूत गुण

इसके गुण निम्न प्रकार से होते है -

आवेशों की योज्यता

आवेश द्रव्यमान की भांति आदेश राशि होती है, विभिन्न प्रकार के आवेशों (Charges)को एक साथ जोड़ने के लिए बीजगणितीय योग किया जाता है।

उदाहरण:- माना किसी निकाय में आवेश क्रमशः -2μc + 2μc + 4μc उपस्थित है तो निकाय का कुल आवेश बताओ?

उत्तर:- हम जानते हैं कि आवेशों का बीजगणितीय (algebraic) (चिन्ह के साथ) योग होता है।

अतः कुल आवेश (Q = -2μc) + (+2μc) + (+4μc) = -2μc + 2μc + 4μc = [Q = +4μc]

आवेश संरक्षण

प्रकृति में पाया जाने वाला कुल आवेश हमेशा संरक्षित रहेगा, अर्थात आवेश (Charges) को ना तो उत्पन्न किया जा सकता है। और ना ही नष्ट किया जा सकता है इसे केवल एक वस्तु से दूसरी वस्तु में स्थानांतरित (Moved) किया जा सकता है यह विद्युत क्षेत्र (electric field) तथा आवेश के अन्तर्गत आता है।

आवेश का क्वांटमिकरण

किसी आवेशित (Charged) वस्तु पर आवेश एक न्यूनतम आवेश(e) के पूर्ण गुणक (Multiplier) के रूप में ही हो सकता है, अर्थात आवेश को अनिश्चित रूप से विभाजित (Split) नहीं किया जा सकता है।

अतः किसी वस्तु पर आवेश⇒[Q = ±ne] जहां- n= 0,1,2,3…. , e= 1.67×10-19 कूलॉम

अर्थात न्यूनतम संभव स्थानांतरण आवेश 1e = 1.6 x 10-19 कूलॉम होगा।